//Haryana/Chandigarh :
सरकारी विभागों की नकारा और हठधर्मितापूर्ण शैली के मारों की कमी नहीं लेकिन सब इसे चुपचाप नहीं झेलते। कुछ इसका इतना करारा जवाब देते हैं कि मिसाल बन जाती है जैसे हरियाणा के गांधरा (गांव) के रहने वाले 102 वर्षीय बुजुर्ग दुलीचंद ने दिया। इन ताऊ को अधिकारियों ने कागजों में मृत घोषित कर उनकी पेंशन बंद कर दी। पहले तो ताऊ छह महीनों तक दफ्तरों के चक्कर काटते रहे, पर बात नहीं बनी तो उन्होंने ऐसा तरीका खोजा कि अब पूरी हरियाणा सरकार मुंह छिपाने को मजबूर है।
गुरुवार, 8 सितंबर को इस बुजुर्ग ने खुद को जिंदा साबित करने के लिए रथ यात्रा निकाली तो मामला सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। ताऊ की तस्वीर इंटरनेट पर छा गई है और यूजर्स उनके समर्थन में लिख रहे हैं।
अधिकारी मांग रहे हैं जिंदा होने का कागज
बुजुर्ग ने बताया कि उनकी उम्र 102 वर्ष है लेकिन समाज कल्याण विभाग ने मृत बताकर उनकी समाजिक सुरक्षा पेंशन बंद कर दी। वह पेंशन दोबारा से चालू करवाने के लिए कई दिनों से कार्यालय के चक्कर लगा रहे थे। रथ पर दूल्हा बने हाथ में तख्ती लेकर बैठे दुलीचंद की तस्वीर ट्विटर पर ‘ताऊ थारा फूफा अभी जिंदा है!!’ टाइटल से वायरल हो गई है।
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