भारत के पहले मेल ट्रांस्जेंडर कपल ने शेयर ही नवजात बच्चे के हाथ की फोटो
अजब-गजब//Kerala/Trivendram :
कुछ दिन पहले ही केरल के रहने वाले एक ट्रांसजेंडर मेल कपल के मम्मी-पापा बनने की खबर आई थी। इस कपल में से पुरुष से महिला बने जहाद ने अब एक शिशु को जन्म दिया है। उन्होंने बुधवार, 8 फरवरी को मां-पिता बनने की घोषणा की। देश में यह पहली बार है कि किसी ट्रांसजेंडर कपल ने बच्चे को जन्म दिया है।
इस मेल ट्रांसजेंडर कपल के एक सदस्य जिया पावल ने बताया कि केरल में सरकारी मेडिकल कॉलेज में सुबह साढ़े नौ बजे ऑपरेशन के जरिए बच्चे का जन्म हुआ। पावल ने बताया है कि जहाद (जच्चा) और बच्चा दोनों ही स्वस्थ हैं। हालांकि, जोड़े ने बच्चे की लैंगिक पहचान की जानकारी साझा नहीं की है। यह कपल बीते तीन साल से साथ रह रहा है।
घर आंगन में नया मेहमान आने की खबर से इस खुशखबरी को कपल के करीबी दोस्तों ने भी सोशल मीडिया पर शेयर किया। दंपति काफी उत्साहित है और उन सभी का शुक्रिया अदा कर रहे हैं, जो जांच के समय उनके साथ थे। कई महीनों से जहाद और 21 वर्षीय जिया पावल माता-पिता बनने की तैयारी कर रहे थे।
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उल्लेखनीय है कि जाहद एक महिला के रूप में पैदा हुई। पहले उसने बच्चा गोद लेने का विचार किया लेकिन फिर साथी ज़िया के साथ गर्भ धारण किया था। चिकित्सकीय गणना के लिहाज से जहाद की डिलीवरी की तिथि 4 मार्च थी, लेकिन ज़ाहद के प्रसूति एवं स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ ज्योति रमेश चंद्रन ने ज़ाहद के रक्त शर्करा में स्पाइक के बाद सिजेरियन सेक्शन द्वारा प्री-टर्म जन्म का फैसला किया।
जिया ने पोस्ट किया, 'माशाअल्लाह..आज सुबह 9.37 बजे, 2.920 किलो वजन के हमारे सपने ने धरती पर सांस और आंखों के माध्यम से रोशनी का अनुभव करना शुरू किया.. हमारे साथ खड़े लोगों के लिए हमारा धन्यवाद और आभार शब्दों में व्यक्त नहीं किया जा सकता है।' जिया ने इस पोस्ट के साथ इंस्टाग्राम पर बच्चे के नन्हें हाथों की तस्वीर भी पोस्ट की। डॉ चंद्रन का कहना है कि जाहद और बच्चा चार से पांच दिनों तक अस्पताल में रहेंगे। बच्चे को बैंक में रखा मां का दूध पिलाया जा रहा है।
यह भी बता दें कि करीब तीन साल पहले जिया और जाहद की मुलाकात हुई थी। जिया एक पेशेवर नर्तकी है जो नृत्य भी सिखाती है जबकि जाहद एक अकाउंटेंट है। जब तक जाहद और जिया ने गर्भ धारण करने की कोशिश करने का फैसला किया, तब तक जाहद की स्तन हटाने की सर्जरी और हार्मोन थेरेपी की खुराक पहले ही हो चुकी थी। गर्भावस्था केवल इसलिए संभव थी क्योंकि गर्भाशय और अन्य प्रजनन अंगों को हटाया नहीं गया था।
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