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जन्मदिन मुबारक हो सर , भारतवासी दे रहे हैं भारत की शान रतन टाटा को बधाई , सोशल मीडिया पर कर रहे हैं ट्रेंड युवाओं के प्रेरणास्त्रोत 

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जन्मदिन मुबारक हो सर , भारतवासी दे रहे हैं भारत की शान रतन टाटा को बधाई , सोशल मीडिया पर कर रहे हैं ट्रेंड युवाओं के प्रेरणास्त्रोत 

बिजनेस//Rajasthan/Jaipur :

देश की 157 साल पुरानी कंपनी टाटा समूह (Tata Group) को दुनिया की पॉपुलर कंपनियों में शामिल करने का श्रेय रतन टाटा (Ratan Tata) को जाता है। रतन टाटा न केवल एक सफल कारोबारी हैं, बल्कि उनकी पहचान एक शांत स्वभाव और सादगी से भरे शख्स के तौर पर है। रतन टाटा आज अपना 85वां जन्मदिन मना रहे हैं। हमेशा की तरह वो इस बार भी बेहद सादे तरीके से अपना जन्मदिन मना रहे हैं। बिना किसी तामझाम रतन टाटा अपने बेहद करीबियों के साथ अपना जन्मदिन मनाते हैं।

रतन टाटा जी भारत के जाने–माने उद्योगपति, निवेशक और टाटा संस के रिटायर्ड अध्यक्ष हैं। रतन टाटा 1991 से 2012 तक मिश्र टाटा ग्रुप के अध्यक्ष रह चुके है। उन्होंने 28 दिसंबर 2012 को अपने टाटा ग्रुप के अध्यक्ष पद को छोड़ा, लेकिन रतन टाटा “टाटा ग्रुप” के चैरिटेबिल ट्र्स्ट के अध्यक्ष आज भी है।रतन टाटा ने टाटा संस के चेयरमैन के रूप में इस कंपनी को बुलंदियों तक पहुंचाया।

साल 2020 में कोरोनावायरस (COVID–19) से संक्रमित लोगों की सहायता के लिए भी उन्होंने बड़ी राशि दान दी है। उनकी गिनती दुनिया के सबसे अमीर लोगों में होती है, तो आइए जानते हैं महान उद्योगपति रतन टाटा के उपलब्धियां :

1998 में टाटा मोटर्स ने पहली पूर्णतः भारतीय यात्री कार – टाटा इंडिका  को बाजार में पेश किया। इसके बाद टाटा टी ने टेटली, टाटा मोटर्स ने ‘जैगुआर लैंड रोवर’ और टाटा स्टील ने ‘कोरस ग्रुप’ का सफलतापूर्वक अधिग्रहण किया |

दुनिया की सबसे सस्ती कार-लखटकिया नैनो कार (Smallest Car In India)

2008 में रतन टाटा ने दुनिया की सबसे सस्ती कार बनाकर उन लोगों के बारे में भी सोचा, जिनके लिए कार खरीदना किसी बड़े सपने से कम नहीं था। रतन टाटा ने महज 1 लाख रुपए की लागत में दुनिया की सबसे सस्ती कार, नैनो कार बनाई। 

रतन टाटा भारतीय एड्स कार्यक्रम समिति के सक्रीय कार्यकर्ता हैं। भारत में इसे रोकने की हर संभव कोशिश वे करते रहे हैं। रतन टाटा प्रधानमंत्री व्यापार और उद्योग समिति के सदस्य होने के साथ ही एशिया के RAND सेंटर के सलाहकार समिति में भी शामिल है। देश ही नहीं बल्कि विदेशो में भी हमें रतन टाटा का काफी नाम दिखाई देता है।

रतन टाटा मित्सुबिशी को–ऑपरेशन की अंतर्राष्ट्रीय सलाहकार समिति के भी सदस्य है और इसी के साथ वे अमेरिकन अंतर्राष्ट्रीय ग्रुप जे.पी. मॉर्गन चेस एंड बुज़ एलन हमिल्टो में भी शामिल है। उनकी प्रसिद्धि को देखते हुए हम यह कह सकते है की रतन टाटा एक बहुप्रचलित शख्सियत हैं।

रतन टाटा को मिले पुरस्कार – Ratan Tata Awards
रतन टाटा को उनकी महान उपलब्धियों के लिए कई पुरस्कार और उपाधियों से नवाजा गया, जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं–

रतन टाटा को येल की तरफ से नेतृत्व करने वाले सबसे प्रसिद्ध व्यक्ति का पुरस्कार।
सिंगापुर  की नागरिकता का सम्मान।
टाटा परिवार के देश की प्रगति में योगदान हेतु परोपकार का कार्नेगी मैडल दिया गया।
साल 2000 में रतन टाटा जी को भरत सरकार की तरफ से पदम् भूषण सम्मान से नवाजा गया था।
सन् 2008 में, रतन टाटा को भारत सरकार ने भारत के नागरिकत्व का सबसे बड़ा पुरस्कार पद्म भूषण दिया गया।
इंडो-इसरायली चेम्बर ऑफ़ कॉमर्स द्वारा सन् 2010 में “बिजनेसमैन ऑफ़ दि डिकेड” का सम्मान।
रतन टाटा भारत के सबसे सफल और प्रसिद्ध बिजनेसमैन में गिने जाते है। रतन टाटा एक बेहद सिंपल और सादगी से भरीं शख्सियत हैं, जो कि दुनिया की झूठी चमक दमक में विश्वास नहीं करते। वे सालों से मुम्बई के कोलाबा जिले में एक किताबों से भरे हुए फ्लैट में अकेले रहते हैं। रतन टाटा उच्च आदर्शों वाले व्यक्ति है।

रतन टाटा मानते हैं कि व्यापार का अर्थ सिर्फ मुनाफा कमाना नहीं बल्कि समाज के प्रति अपनी जिम्मेंदारी को भी समझना है और व्यापार में सामाजिक मूल्यों का भी सामावेश होना चाहिए। रतन टाटा का हमेशा से ही यह मानना था की,

जीवन में आगे बढ़ते रहने के लिए उतार–चढ़ाव का बड़ा ही महत्व है। यहां तक कि ई.सी.जी. (ECG) में भी सीधी लकीर का अर्थ– मृत माना जाता है।

रतन टाटा ने हमेशा जीवन में आगे बढ़ना ही सीखा। कभी वे अपनी परिस्थितियों से नही घबराए और हर कदम पर उन्होंने अपने आप को सही साबित किया। उनके जीवन से हर किसी को प्रेरणा लेने की जरुरत है।

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सौम्या बी श्रीवास्तव

By News Thikhana

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