पटना के बाढ़ में गंगा नदी में पलटी नाव, 13 लोगों को बचाया गया, 4 अब भी लापता कश्मीर की सुरक्षा पर बड़ी बैठक, गृह सचिव अजय भल्ला समेत कई अधिकारी होम मिनिस्ट्री पहुंचे मंत्री आतिशी का बड़ा दावा- दिल्ली में पानी की पाइपलाइन काटने की हो रही साजिश अमेरिका में वाटर पार्क में हुई गोलीबारी, 2 बच्चों समेत 10 लोग घायल, संदिग्ध फरार T20 विश्व कप में AUS ने स्कॉटलैंड को 5 विकेट से हराया, ENG की सुपर आठ में हुई एंट्री दिल्ली में जल संकट पर BJP सांसद अपने संसदीय इलाकों में AAP के खिलाफ करेंगे प्रदर्शन जम्मू-कश्मीर और अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा को लेकर गृहमंत्री अमित शाह आज करेंगे बड़ी बैठक गंगा दशहरा पर श्रद्धालुओं ने अयोध्या, वाराणसी और हरिद्वार में लगाई डुबकी UPSC Prelims 2024: आज आयोजित होगी सिविल सेवा प्रारंभिक परीक्षा आज है विक्रम संवत् 2081 के ज्येष्ठ मास के शुक्लपक्ष की दशमी तिथि संपूर्ण दिवस रविवार,16 जून 2024
भारत और ईरान ने चाबहार स्थित शाहिद बेहश्ती पोर्ट के टर्मिनल के ऑपरेशन के लिए समझौते के पत्र पर हस्ताक्षर किये, अफगानिस्तान ने भी खुशी जाहिर की

आर्थिक

भारत और ईरान ने चाबहार स्थित शाहिद बेहश्ती पोर्ट के टर्मिनल के ऑपरेशन के लिए समझौते के पत्र पर हस्ताक्षर किये, अफगानिस्तान ने भी खुशी जाहिर की

आर्थिक//Delhi/New Delhi :

ईरान स्थित भारतीय दूतावास ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म‘ एक्स’ जिसे आमजन ट्विवर के नाम नाम से जानते हैं, के जरिये र एक पोस्ट करके जानकारी दी है कि भारत और ईरान ने चाबहार स्थित शाहिद बेहश्ती पोर्ट के टर्मिनल के ऑपरेशन के लिए एक दीर्घकालीन समझौते के पत्र पर हस्ताक्षर किये हैं। भारत के जलमार्ग मंत्री सर्बानंद सोनोवाल की उपस्थिति में इंडिया पोर्ट्स ग्लोबल लिमिटेड और ईरान के पोर्ट्स एंड मेरिटाइम ऑर्गेनाइजेशन ने दीर्धकालीन समझौते के पत्र पर हस्ताक्ष किये।

 बता दें कि ऐसा पहली बार हो रहा है जब भारत किसी भी देश में स्थित किसी बंदरगाह के प्रबंधन को अपने हाथ में ले रहा है। चाबहार पोर्ट ईरान के दक्षिणी तट पर सिस्तान-बलूचिस्तान प्रांत में स्थित है.जिसे भारत और ईरान मिलकर विकसित कर रहे हैं। उल्लेखनीय है कि भारत के विदेश मंत्रालय (MEA) ने ईरान के साथ संपर्क प्रोजेक्ट्स पर भारत की अहमियत को रेखांकित करते हुए 2024-25 के लिए चाबहार पोर्ट के लिए 100 करोड़ रुपये आवंटित किए थे। आईपीजीएल की सहायक कंपनी इंडिया पोर्ट्स ग्लोबल चाबहार फ्री जोन (IPGCFZ) ने 2019 में अफगानिस्तान से भारत में निर्यात की पहली खेप की सुविधा दी थी।

भारत क्षेत्रीय व्यापार विशेषतौर पर अफगानिस्तान से संपर्क बढ़ाने के लिए चाबहार पोर्ट प्रोजेक्ट पर जोर दे रहा है। यह पोर्ट ‘अंतरराष्ट्रीय उत्तर-दक्षिण परिवहन गलियारा’ (INSTC) प्रोजेक्ट के एक प्रमुख केंद्र के तौर पर पेश किया गया है। यह INSTC परियोजना भारत, ईरान, अफगानिस्तान, आर्मेनिया, अजरबैजान, रूस, मध्य एशिया और यूरोप के बीच माल-ढुलाई के लिए 7,200 किलोमीटर लंबी एक मल्टीलेवल ट्रांसपोर्टेशन प्रोजेक्ट है।

अफगानिस्तान ने भी जाहिर की खुशी

उधर, अफगानिस्तान की तालिबान की सरकार ने ईरान के चाबहार पोर्ट को 10 साल के लिए भारत को मिलने का जोरदार तरीके से स्‍वागत किया है। तालिबान ने कहा है कि अब उसे विकल्‍प मिल जाएगा और उसकी पाकिस्‍तान के कराची पोर्ट पर से निर्भरता कम हो जाएगी। यही नहीं तालिबान ने भारत के कदम का खुलकर समर्थन किया है और उसका मानना है कि इससे अब अफगानिस्‍तान में आर्थिक स्थिरता में आएगी और फायदा होगा। तालिबान सरकार अब चाबहार में एक विशेष जोन बनाना चाहती है ताकि अंतरराष्‍ट्रीय व्‍यापार को किया जा सके। तालिबान का यह बयान ऐसे समय पर आया है जब दोनों देशों के बीच साल 2023 में व्‍यपार 77 करोड़ 30 लाख डॉलर तक पहुंच गया है।

You can share this post!

author

News Thikana

By News Thikhana

News Thikana is the best Hindi News Channel of India. It covers National & International news related to politics, sports, technology bollywood & entertainment.

Comments

Leave Comments